नैनवां ( नीरज गौड़ ) – नैनवां कस्बे क्षेत्र का दुर्भाग्य नैनवां का साथ छोड़ने को तैयार नही है। एक ओर से लाखों करोड़ो रूपये की वित्तीय स्वीकृति मिलने के बाद भी कई अनिवार्य कार्य ऐसे रुके हुए है कि क्षेत्र के विकास की आस जनता के दिल मे धीरे धीरे दम तोड़ रही है। क्षेत्र में राज्य मंत्री अशोक चांदना ने अपने अथक प्रयासों से नैनवां के कई विकास के मार्ग खोल दिये लेकिन सिस्टम की धीमी रफ्तार का खामयाजा जनता को भुगतना पड़ रहा है। अकेला इंसान पहाड़ नही तोड़ सकता कहावत क्षेत्र में सच होती दिखाई दे रही है। ऐसी ही एक बड़ी जनसमस्या नैनवां बस स्टैंड की बनी हुई है।
वर्षो से नैनवां बस स्टैंड जनप्रतिनिधियों व कर्मचारियों की उपेक्षा का शिकार रहा है लेकिन इस दौरान राज्य मंत्री की पहल व लगन का परिणाम बस स्टैंड के सुधार व विकास कार्यो हेतु 50 लाख रुपये स्वीकृत हुए लेकिन आज दिन तक बस स्टैंड पर कोई विकास कार्य चलता हुआ दिखाई नही दिया। बस स्टैंड पर यात्रियों को आज तक स्वछ जल, साफ टॉयलेट, स्वछ यात्री प्रतीक्षा ग्रह, अच्छी सड़क, सुरक्षा की दृष्टि से कैमरे, ट्रैफिक समस्या, अव्यवस्थित लगाए जाने वाले फल व सब्जी की दुकानों की समस्या से राहत नही मिल सकी है। मौके पर राहत देने के नाम पर मात्र कुछ खड्डों को अधूरा भर कर दिखावा किया गया है जो ऊंट के मुह में जीरे के समान है।
बस स्टैंड की वर्तमान दुर्दशा के चलते यात्रियों सहित आस पास के क्षेत्र वालो को कई विकट समस्याओ का सामना करना पड़ रहा है जिससे आमजन में भारी रोष बना हुआ है।
